नैनीताल। नैनीताल जिले के दक्षिण पूर्वी भाग स्थित बलियानाला क्षेत्र में लगातार भू-स्खलन की घटनाओं से लोग चिंतित हैं। विगत वर्षों में विशेष रूप से 2014 एवं 2018 में इस क्षेत्र में भारी मात्रा में भू-स्खलन हुआ है, जिसके परिणामस्वरूप वहां जीवन और सम्पदा को खतरा बना हुआ है। इन घटनाओं को रोकने के लिए समय-समय पर तात्कालिक उपाय किए गए, परन्तु स्थायी समाधान अभी तक नहीं निकला है।
इस संदर्भ में उच्च न्यायालय उत्तराखण्ड नैनीताल में योजित पीआईएल संख्या-157/2018 के अंतर्गत दिनांक 20 सितंबर 2018 को पारित आदेश के आधार पर एक हाई पावर कमेटी का गठन किया गया था। कमेटी ने प्रभावित क्षेत्र का निरीक्षण कर दीर्घकालिक उपचार के सुझाव दिए।
उत्तराखण्ड शासन ने 3 अगस्त 2023 को योजना की कुल लागत 177.91 करोड़ रुपये स्वीकृत की। इसके बाद, जनवरी 2024 में अनुबंध पत्र पर हस्ताक्षर के पश्चात बलियानाला की कार्ययोजना को मजबूत करने की आवश्यकता महसूस की गई। इसी क्रम में 10 मई 2024 को शासन में आयोजित पीएमसी बैठक में आईआईटी रुड़की के माध्यम से डीपीआर को सुदृढ़ करने का निर्णय लिया गया। सुझावों को ध्यान में रखते हुए पुनरीक्षित डीपीआर की कुल लागत 298.93 करोड़ रुपये निर्धारित की गई, जिसमें माइक्रोपाइल, ग्राउटिंग, शॉटक्रेट, एवं स्ट्रेंथनिंग जैसे कार्य शामिल हैं। इन कार्यों से क्षेत्र में स्थिरता लाने की दिशा में तेजी से प्रगति हो रही है।

बुधवार को नैनीताल के सांसद एवं पूर्व केंद्रीय रक्षा एवं पर्यटन राज्य मंत्री अजय भट्ट ने बलियानाला क्षेत्र का स्थलीय निरीक्षण किया। उन्होंने सेक्शन-A में विभाजित विभिन्न बेंचों (El 1880, El 1866, El 1852) पर जाकर कार्यों का बारीकी से अवलोकन किया। परियोजना के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए मुख्य अभियंता सिंचाई संजय शुक्ला ने सभी सुरक्षात्मक उपायों के बारे में विस्तार से बताया।
सांसद भट्ट ने पूरे कार्यस्थल का भ्रमण कर चल रहे सुरक्षात्मक कार्यों पर संतोष व्यक्त किया और कहा कि इन प्रयासों से स्थानीय जनता को भू-स्खलन से होने वाली परेशानियों से राहत मिलेगी। उन्होंने साथ ही जीआईसी नैनीताल को जल्द विस्थापित करने का निर्देश भी संबंधित अधिकारियों को दिया।
सांसद ने यह भी कहा कि सरकार आगामी मानसून से पहले ही इस कार्य को पूरा कराना सुनिश्चित करेगी, ताकि जनता को किसी भी प्रकार की दिक्कत न हो। इसके अतिरिक्त, उन्होंने क्षेत्र में रह रहे 90 परिवारों की सुरक्षा को लेकर चिंता व्यक्त करते हुए अधिकारियों को आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए।
निरीक्षण में प्रमुख अभियंता सिंचाई संजय शुक्ला, उप जिलाधिकारी नवाजिस खलिक, सांसद प्रतिनिधि गोपाल रावत, मंडल अध्यक्ष नितिन कार्की, मोहित साह, बिमला अधिकारी, दयाकिशन पोखरियाल, मारुती साह, निखिल बिष्ट, करण साह, आनंद बिष्ट सहित कई विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।